राजभर समाज के इतिहास को लेकर अनिल राजभर और ओमप्रकाश राजभर आमने-सामने
लखनऊ : महाराजा सुहेलदेव राजभर के नाम आगे राजभर लगाने के मुद्दे पर विधानसभा में मंगलवार को भाजपा के अनिल राजभर और ओम प्रकाश राजभर की पार्टी सुभासपा में बहस हो गई। राज्यपाल के अभिभाषण पर चर्चा के दौरान सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष ओमप्रकाश राजभर ने भाजपा पर आरोप लगाया कि वह महाराजा सुहेलदेव राजभर का इतिहास बदलने की कोशिश कर रही है। इसी मंशा के कारण भाजपा सुहेलदेव राजभर के नाम के आगे राजभर नहीं लिखती है जबकि दीनदयाल के नाम के आगे उपाध्याय व सरदार बल्लभ भाई के नाम के आगे पटेल लिखती है।
ओम प्रकाश राजभर ने याद दिलाया कि हाल ही में जब बहराइच में प्रधानमंत्री ने महाराजा सुहेलदेव की प्रतिमा का शिलान्यास किया लेकिन शिलापट पर सिर्फ महाराजा सुहेलदेव लिखा गया। उन्होंने कहा कि अंग्रेजों के शासन के गजेटियर और मुगल काल के आईने अकबरी में महाराजा सुहेलदेव को भर समाज का ही बताया गया है। हमारा इतिहास को मिटाने की कोशिश होगी तो राजभर समाज बर्दाश्त नहीं करेगा।
इस बीच भाजपा के राघवेंद्र प्रताप सिंह ने इस बात का प्रतिवाद किया तो शोर-शराबा शुरू हो गया।पिछड़ा वर्ग कल्याण मंत्री अनिल राजभर ने ओम प्रकाश राजभर से कहा कि आपने सुहेलदेव का नाम लगाकर पार्टी बनाई है लेकिन आपने खुद पार्टी का नाम सुहेलदेव राजभर नहीं रखा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने महाराजा सुहेलदेव को प्रतिष्ठा दिलाने का काम किया।
अभिभाषण पर आए धन्यवाद प्रस्ताव पर अपना दल (सोनेलाल) की लीना तिवारी , बसपा की सुषमा पटेल, सपा के इरफान फईम व भाजपा के भूपेश चौबे, महेंद्र पाल सिंह, शीतल पांडेय, राकेश सिंह व अनुपमा जयसवाल ने भी अपने विचार रखे।
सदन में बोल दिया मेरे इतिहास के साथ खिलवाड़ करोगे तो ..... विडियो देखिए
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